गंगा मैया को हमारे हिंदू धर्म में बहुत पवित्र और पूजनीय माना गया हैं। गंगा मैया न केवल नदी है बल्कि मुक्ति प्रवाह का प्रदायिनी देवी मानी गई है, जो अपने भक्तों का पापों का नाश कर मोक्ष प्रदान करती हैं। गंगा आरती हरिद्वार वाराणसी और प्रयागराज में धूम धाम से किया जाता है, गंगा मैया के आरती करने से गंगा मैया की कृपा हमेशा बनी रहती है।
आइए गंगा माता की आरती लिखित में पढ़ते है।
श्री गंगा मैया आरती और अर्थ | Ganga Aarti at Varanasi | Ganga Aarti Lyrics in Hindi
॥ गंगा आरती श्लोक॥
“नमामि गंगे ! तव पाद पंकजम्,
सुरासुरैः वंदित दिव्य रूपम्।
भक्तिम् मुक्तिं च ददासि नित्यं,
भावानुसारेण सदा नराणाम्॥”
अर्थ: मैं माँ गंगा को नमन करता हूँ, जिनके चरण कमल को देवता और असुर दोनों पूजते हैं। आप अपने भक्तों को भक्ति और मुक्ति प्रदान करती हैं, और सभी जीवों के भावों के अनुसार कृपा करती हैं।
॥ गंगा मैया आरती ॥
ॐ जय गंगे माता,
श्री जय गंगे माता।
जो नर तुमको ध्याता,
मनवांछित फल पाता॥
अर्थ: हे माँ गंगे! आपकी जय हो! जो भी व्यक्ति आपकी सच्चे मन से उपासना करता है, उसे इच्छित फल प्राप्त होता है।
चंद्र सी जोत तुम्हारी,
जल निर्मल आता।
शरण पड़ें जो तेरी,
सो नर तर जाता॥
अर्थ: माँ गंगा की आभा चंद्रमा जैसी उज्ज्वल है, और उनका जल स्वच्छ और पवित्र है। जो भी आपकी शरण में आता है, वह भवसागर से पार हो जाता है।
पुत्र सगर के तारे,
सब जग को ज्ञाता।
कृपा दृष्टि तुम्हारी,
त्रिभुवन सुख दाता॥
अर्थ: राजा सगर के पुत्रों को तारने वाली माँ गंगा संपूर्ण जगत को मोक्ष प्रदान करने वाली हैं। उनकी कृपा तीनों लोकों (स्वर्ग, पृथ्वी, पाताल) के लिए सुखदायी है।
एक ही बार जो तेरी,
शरणागति आता।
यम की त्रास मिटाकर,
परमगति पाता॥
अर्थ: जो भी व्यक्ति केवल एक बार आपकी शरण में आता है, उसकी यमराज से मुक्ति हो जाती है और वह सर्वोच्च गति (मोक्ष) को प्राप्त करता है।
आरती मात तुम्हारी,
जो जन नित्य गाता।
दास वही सहज में,
मुक्ति को पाता॥
अर्थ: जो भी व्यक्ति प्रतिदिन माँ गंगा की आरती गाता है, वह सरलता से मोक्ष को प्राप्त करता है और माँ गंगा की कृपा से मुक्त हो जाता है।
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वाराणसी, प्रयागराज और हरिद्वार गंगा आरती समय?
वाराणसी गंगा आरती का समय: गर्मी के दौरान शाम को 06:30 बजे और सर्दियों में शाम 05:15 बजे किया जाता है।
प्रयागराज गंगा आरती का समय: प्रयागराज में गंगा आरती सरस्वती घाट पर शाम 06:30 बजे से शाम 07:00 बजे के बीच में किया जाता है।
हरिद्वार में गंगा आरती का समय: हरिद्वार में गंगा आरती सुबह शाम दोनों समय किया जाता है, सुबह की आरती 05:00 से 06:50 बजे तक किया जाता है। और शाम की आरती 05:30 से 07:00 बजे तक किया जाता है।
गंगा आरती का महत्व
1. पापों का नाश
माँ गंगा में स्नान और उनकी आरती करने से जन्म-जन्मांतर के पापों का नाश होता है।
2. मोक्ष की प्राप्ति
गंगा केवल एक नदी नहीं, बल्कि मोक्षदायिनी देवी हैं। उनकी भक्ति करने से व्यक्ति को मुक्ति प्राप्त होती है।
3. शांति और सकारात्मक ऊर्जा
गंगा की आरती करने से मन को अद्भुत शांति और आध्यात्मिक ऊर्जा मिलती है।
4. शुभ फल की प्राप्ति
गंगा माता की आरती करने वाले भक्तों को सभी मनोकामनाओं की पूर्ति होती है।
निष्कर्ष
गंगा माता हिंदू धर्म में पवित्रता और मोक्ष का प्रतीक हैं। उनकी आरती श्रद्धा भाव से करने से भक्तों के जीवन में शुख़ शांति, समृद्धि और पवित्रता आती है। इसलिए हमें माँ गंगा की महिमा को समझकर उनकी भक्ति करनी चाहिए और अपने जीवन को पवित्र बनाना चाहिए।
“हर हर गंगे! जय माँ गंगे!”