19 फरवरी 2025, बुधवार का पंचांग हिंदू कैलेंडर के अनुसार फाल्गुन माह के कृष्ण पक्ष की षष्ठी तिथि से शुरू होता है। यह दिन विक्रम संवत 2081 (पिंगल संवत्सर) और शक संवत 1946 (क्रोधी संवत्सर) के अंतर्गत आता है। इस दिन की खगोलीय और ज्योतिषीय घटनाएं, शुभ-अशुभ समय, तिथि-नक्षत्र परिवर्तन, और धार्मिक महत्व को समझने के लिए विस्तृत विश्लेषण यहां प्रस्तुत है।
मुख्य ज्योतिषीय समय (Today Panchang)
19 फ़रवरी 2025 के तिथि परिवर्तन कृष्ण पक्ष षष्टी: 18 फ़रवरी 04:53 AM से 19 फ़रवरी 07:32 AM तक रहेगा। कृष्ण पक्ष की समाप्ति 19 फ़रवरी 07:32 AM से 20 फ़रवरी 09:58 AM तक समाप्ति होगी।
नक्षत्र: स्वाति नक्षत्र 18 फ़रवरी 07:35 AM से 19 फ़रवरी 09:58 AM तक रहेगा। विशाखा नक्षत्र 19 फ़रवरी 10:39 AM से 20 फ़रवरी 01:30 PM तक रहेगा।
योग: वृद्धि योग 18 फ़रवरी 09:51 AM से 19 फ़रवरी 10:48 AM तक रहेगा। द्रव योग 19 फ़रवरी 10:48 AM से 20 फ़रवरी 11:33 AM तक रहेगा।
कारण: वाणिज 18 फ़रवरी 06:14 PM से 19 फ़रवरी 07:32 AM तक रहेगा। विष्टि 19 फ़रवरी 07:32 AM से 08:48 PM तक रहेगा। बव 19 फ़रवरी 08:48 PM से 20 फ़रवरी 09:58 AM तक रहेगा।
19 फ़रवरी 2025 सूर्य और चंद्रमा की गति
- सूर्योदय: 07:00 AM
- सूर्यास्त: 06:21 PM
- चंद्रोदय: 20 फरवरी 12:16 AM
- चंद्रास्त: 20 फरवरी 11:13 AM
- सूर्य राशि: कुंभ (शनि स्वामित्व)
- चंद्र राशि: 20 फरवरी 06:49 AM तक तुला (शुक्र स्वामित्व), उसके बाद वृश्चिक (मंगल स्वामित्व)।
शुभ और अशुभ समय
अशुभ काल
- राहुकाल: 12:40 PM – 02:05 PM
- यमगण्ड: 08:25 AM – 09:50 AM
- गुलिक काल: 11:15 AM – 12:40 PM
- दुर्मुहूर्त: 12:17 PM – 01:03 PM
- वर्ज्यम्: 04:55 PM – 06:42 PM
शुभ काल
- अमृत काल: 03:38 AM – 05:26 AM
- ब्रह्म मुहूर्त: 05:23 AM – 06:11 AM
- विजय मुहूर्त: 02:25 PM – 03:28 PM
19 फ़रवरी 2025 ज्योतिषीय सुझाव
- वृद्धि योग में गणेश पूजा: इस योग में गणेश जी की पूजा करने से सफलता और समृद्धि में वृद्धि होती है। हरे रंग की वस्तुओं (जैसे हरा वस्त्र, मूंग) का दान करना शुभ माना गया है।
- दिशाशूल: उत्तर दिशा में यात्रा न करें। यदि आवश्यक हो, तो एक दिन पहले यात्रा की योजना बनाएं ।
- रवि योग का लाभ: सूर्य के प्रभाव वाले इस योग में पूजा-पाठ करने से दोषों का निवारण होता है। बुध ग्रह से जुड़े दोषों के लिए हरे रंग का दान फायदेमंद है ।
ऋतु एवं संवत्सर
- वैदिक ऋतु: शिशिर (सर्दी)
- द्रिक ऋतु: वसंत
- पूर्णिमांत माह: फाल्गुन
- अमांत माह: माघ
- राष्ट्रीय कैलेंडर: शक संवत 1946 (माघ 30)।
त्योहार एवं पर्व
- छत्रपति शिवाजी महाराज जयंती: इस दिन महाराष्ट्र और अन्य क्षेत्रों में शिवाजी महाराज के जीवन और योगदान को याद किया जाता है।
निष्कर्ष
19 फरवरी 2025 का पंचांग ज्योतिषीय गणनाओं और धार्मिक महत्व से भरपूर है। वृद्धि योग में गणेश पूजा, उत्तर दिशा में यात्रा पर प्रतिबंध, और राहुकाल से बचाव जैसे सुझावों का पालन करके इस दिन का अधिकतम लाभ उठाया जा सकता है। शुभ मुहूर्तों में धार्मिक कार्य और अशुभ समय में नए कार्यों की शुरुआत न करने की सलाह दी जाती है। विस्तृत जानकारी के लिए दिए गए स्रोतों का अवलोकन करें ।